Friendship Poetry of Anjum Saleemi

Friendship Poetry of Anjum Saleemi
नामअंजुम सलीमी
अंग्रेज़ी नामAnjum Saleemi
जन्म की तारीख1963
जन्म स्थानFaislabad

ये मोहब्बत का जो अम्बार पड़ा है मुझ में

पत्थर में कौन जोंक लगाएगा मेरे दोस्त

मैं दिल-ए-गिरफ़्ता तुझे गुनगुनाता रहता हूँ

कहने सुनने के लिए और बचा ही क्या है

विसाल की तीसरी सम्त

तन्हाई का सफ़रनामा

काश

ये मोहब्बत का जो अम्बार पड़ा है मुझ में

उम्र की सारी थकन लाद के घर जाता हूँ

सहर को खोज चराग़ों पे इंहिसार न कर

कैसी सोहबत है कैसी तन्हाई

काग़ज़ था मैं दिए पे मुझे रख दिया गया

इक दूजे को देर से समझा देर से यारी की

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