मोहम्मद अली असर कविता, ग़ज़ल तथा कविताओं का मोहम्मद अली असर
नाम | मोहम्मद अली असर |
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अंग्रेज़ी नाम | Mohammad Ali Asar |
तसल्ली
पुराने तमाशे
हम-ज़ाद
एल्बम
टूट कर रह गया आईने से रिश्ता अपना
सामने ख़ंजर रख कर देखें
मिरे वजूद से आती है इक सदा मुझ को
मता-ए-उम्र-ए-गुज़िश्ता समेट कर ले जा
किसी का नक़्श जो पल भर रहा है आँखों में
हर तरफ़ रात का फैला हुआ दरिया देखूँ
ग़ज़ल-मिज़ाज है यकसर ग़ज़ल का लहजा है
आवाज़ों के जंगल में सुनाई नहीं देता
आँसुओं में कभी ढली है रात