इलाज कोई जहाँ का न साज़गार आया

इलाज कोई जहाँ का न साज़गार आया

किसी तरह भी न दिल को मिरे क़रार आया

पयाम मौत का ले कर ख़याल-ए-यार आया

अजल की गर्द में ही ज़ीस्त को क़रार आया

निगाह-ए-लुत्फ़ के तालिब हैं जो वो हैं कम-ज़र्फ़

हमें तो उल्टा जफ़ाओं पे तेरी प्यार आया

ये किस की याद से रौशन हुई 'मीर' दुनिया

ये किस का नाम मिरे लब पे बार बार आया

ख़ुशी से बढ़ के क़दम मेरे आबलों ने लिए

कोई जो राह मोहब्बत में ख़ार-ज़ार आया

न कोई लौट के आया दयार-ए-उल्फ़त से

जो कोई भी 'नय्यर' ब-हाल-ए-ज़ार आया

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In Hindi By Famous Poet Nayyar Aasmi. is written by Nayyar Aasmi. Complete Poem in Hindi by Nayyar Aasmi. Download free  Poem for Youth in PDF.  is a Poem on Inspiration for young students. Share  with your friends on Twitter, Whatsapp and Facebook.