ज़ेहरा निगाह कविता, ग़ज़ल तथा कविताओं का ज़ेहरा निगाह (page 5)
नाम | ज़ेहरा निगाह |
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अंग्रेज़ी नाम | Zehra Nigaah |
जन्म की तारीख | 1937 |
जन्म स्थान | Pakistan |
बस्ती में कुछ लोग निराले अब भी हैं
बरसों हुए तुम कहीं नहीं हो
बैठे बैठे कैसा दिल घबरा जाता है
अपना हर अंदाज़ आँखों को तर-ओ-ताज़ा लगा
अब तक शरीक-ए-महफ़िल-ए-अग़्यार कौन है