ओझल Poetry (page 1)

आओ फिर से दिया जलाएँ

अटल बिहारी वाजपेयी

शजर जलते हैं शाख़ें जल रही हैं

ज़िया जालंधरी

फ़ज़ाएँ इस क़दर बे-कल रही हैं

ज़िया जालंधरी

ज़िंदगानी की हक़ीक़त तब ही खुलती है मियाँ

ज़ाकिर ख़ान ज़ाकिर

कभी अज़ाबों में बस रही है कभी ये ख़्वाबों में कट रही है

ज़ाकिर ख़ान ज़ाकिर

चल पड़े हम दश्त-ए-बे-साया भी जंगल हो गया

ज़फ़र गौरी

ये दश्त-ए-शौक़ का लम्बा सफ़र अच्छा नहीं लगता

ज़फ़र अंसारी ज़फ़र

बेबसी

वसीम बरेलवी

पेश वो हर पल है साहब

वक़ार सहर

मावरा

वहीद अख़्तर

मुझे भी नीम के जैसा न कर दे

तनवीर गौहर

जलना हो तो मुझ से जल

तन्हा तिम्मापुरी

कोई हसीं मंज़र आँखों से जब ओझल हो जाएगा

ताहिर फ़राज़

अपनी आँखों से जो वो ओझल है

सय्यद अाग़ा अली महर

रंग होने लगे ज़ाहिर मेरे

सुनील आफ़ताब

कहाँ तेवर हैं उन में अब वो कल के

सुहैल काकोरवी

टूट कर अंदर से बिखरे और हम जल-थल हुए

सिद्दीक़ा शबनम

हंगामा गर्म हस्ती-ए-ना-पाएदार का

ज़ौक़

हम-ज़ाद

शाज़ तमकनत

सफ़र कहने को जारी है मगर अज़्म-ए-सफ़र ग़ाएब

शायान क़ुरैशी

याद

शौकत परदेसी

सूना आँगन नींद में ऐसे चौंक उठा है

शारिक़ कैफ़ी

देख इन आँखों से क्या जल-थल कर रक्खा है

शहज़ाद क़मर

बात कोई एक पल उस के ध्यान के आने की थी

शाहिदा हसन

मिरी नज़र कि तरह दिल परिंद ओझल है

शाहिद जमील

कैसा कैसा दर पस-ए-दीवार करना पड़ गया

शाहीन अब्बास

दिल टूट चुका तार-ए-नज़र टूट रहा है

शफ़ीक़ देहलवी

जब तक हम हैं मुमकिन ही नहीं ना-महरम महरम हो जाएँ

शाद आरफ़ी

ये ज़ुल्म है ख़याल से ओझल न कर उसे

साक़ी फ़ारुक़ी

दर्द की ख़ुश्बू से सारा घर मोअ'त्तर हो गया

सलीम शाहिद

Collection of Hindi Poetry. Get Best Hindi Shayari, Poems and ghazal. Read shayari Hindi, poetry by famous Hindi and Urdu poets. Share poetry hindi on Facebook, Whatsapp, Twitter and Instagram.