युद्ध Poetry (page 7)

बसंती तराना

हफ़ीज़ जालंधरी

आख़िरी रात

हफ़ीज़ जालंधरी

इश्क़ ने सामने होते ही जलाया दिल को

ग़ुलाम यहया हुज़ूर अज़ीमाबादी

मिरे नज्म-ए-ख़्वाब के रू-ब-रू कोई शय नहीं मिरे ढंग की

ग़ुलाम हुसैन साजिद

हुआ रौशन दम-ए-ख़ुर्शीद से फिर रंग पानी का

ग़ुलाम हुसैन साजिद

दस्त-ए-राहत ने कभी रँज-ए-गिराँ-बारी ने

ग़ुलाम हुसैन साजिद

इक सर्द-जंग का है असर मेरे ख़ून में

ग़ौसिया ख़ान सबीन

नदी

गीताञ्जलि राय

जुगनू

फ़िराक़ गोरखपुरी

हाथ में अपने अभी तक एक साग़र ही तो है

फ़ातिमा वसीया जायसी

न-जाने कितने लहजे और कितने रंग बदलेगा

फ़ारूक़ अंजुम

है वही एक मेरे सिवा और मैं

फ़रहत नदीम हुमायूँ

उस तरफ़ तू तिरी यकताई है

फ़रहत एहसास

साँसें ना-हमवार मिरी

फ़रहत एहसास

सब ने'मतें हैं शहर में इंसान ही नहीं

फ़रहत एहसास

मैं एक बूँद समुंदर हुआ तो कैसे हुआ

फ़राग़ रोहवी

तू फूल की मानिंद न शबनम की तरह आ

फ़ना निज़ामी कानपुरी

तुम ये कहते हो अब कोई चारा नहीं

फ़ैज़ अहमद फ़ैज़

सोच

फ़ैज़ अहमद फ़ैज़

सफ़र नामा

फ़ैज़ अहमद फ़ैज़

दर्द आएगा दबे पाँव

फ़ैज़ अहमद फ़ैज़

हमीं से अपनी नवा हम-कलाम होती रही

फ़ैज़ अहमद फ़ैज़

पूर्वांचल

फ़हमीदा रियाज़

एक मेहमाँ का हिज्र तारी है

फ़हमी बदायूनी

देर हो गई

फ़हीम शनास काज़मी

न बात दिल की सुनूँ मैं न दिल सुने मेरी

फ़हीम जोगापुरी

ज़ालिम से मुस्तफ़ा का अमल चाहते हैं लोग

एजाज़ रहमानी

बीमारी की ख़बर

एहतिशाम हुसैन

वक़ार-ए-ख़ून-ए-शहीदान-ए-कर्बला की क़सम

दिवाकर राही

कराची का क़ब्रिस्तान

दिलावर फ़िगार

Collection of Hindi Poetry. Get Best Hindi Shayari, Poems and ghazal. Read shayari Hindi, poetry by famous Hindi and Urdu poets. Share poetry hindi on Facebook, Whatsapp, Twitter and Instagram.