वाचा Poetry (page 8)

इस दर्जा इश्क़ मौजिब-ए-रुस्वाई बन गया

साग़र सिद्दीक़ी

है दुआ याद मगर हर्फ़-ए-दुआ याद नहीं

साग़र सिद्दीक़ी

बरगश्ता-ए-यज़्दान से कुछ भूल हुई है

साग़र सिद्दीक़ी

तस्वीर आज देख के अहद-ए-शबाब की

साग़र ख़य्यामी

पस-ए-रौशनी

साग़र ख़य्यामी

नवादिरात की दूकान

साग़र ख़य्यामी

अलाउद्दीन का तरबूज़

साग़र ख़य्यामी

तराना-ए-क़ौमी

सफ़ीर काकोरवी

अपने अहद-ए-वफ़ा से रु-गर्दानी करता रहता है

सफ़दर सलीम सियाल

ख़ुद को जब ख़ुद से किसी रोज़ रिहाई दूँगी

सादिया सफ़दर सादी

शिकस्त-ए-आबला-ए-दिल में नग़्मगी है बहुत

सादिक़ नसीम

इक आग देखता था और जल रहा था मैं

साबिर वसीम

क़लम से राब्ता-ए-रंग-ओ-आब टूट गया

सबा नक़वी

सोना था जितना अहद-ए-जवानी में सो लिए

सबा अकबराबादी

ज़ोम न कीजो शम्अ-रू बज़्म के सोज़ ओ साज़ पर

साइल देहलवी

निकालो कोई तो सूरत कि तीरगी कम हो

रोहित सोनी ‘ताबिश’

छेड़ते हैं गुदगुदाते हैं फिर अरमाँ आज-कल

रियाज़ ख़ैराबादी

मज़ा पड़ा है क़नाअत का अहद-ए-तिफ़्ली से

रिन्द लखनवी

क्यूँ-कर न लाए रंग गुलिस्ताँ नए नए

रिन्द लखनवी

अल्लाह के भी घर से है कू-ए-बुताँ अज़ीज़

रिन्द लखनवी

किसी भी तौर तबीअ'त कहाँ सँभलने की

रियाज़ मजीद

बैठे हैं चैन से कहीं जाना तो है नहीं

रहमान फ़ारिस

बैठे हैं चैन से कहीं जाना तो है नहीं

रहमान फ़ारिस

हर आने वाले पल से डर रहा हूँ

रज़्ज़ाक़ अरशद

हक़ीक़तों का पता दे के ख़ुद सराब हुआ

रज़ी मुजतबा

ये दौर-ए-कम-नज़राँ है तो फिर सिला कैसा

राज़ी अख्तर शौक़

वो शाख़-ए-गुल की तरह मौसम-ए-तरब की तरह

राज़ी अख्तर शौक़

हम जहाँ नग़्मा-ओ-आहंग लिए फिरते हैं

राज़ी अख्तर शौक़

सहरा-ए-ख़याल का दिया हूँ

रज़ा हमदानी

सवाद-ए-शहर में थोड़ी सी ये जो जन्नत है

रज़ा अश्क

Collection of Hindi Poetry. Get Best Hindi Shayari, Poems and ghazal. Read shayari Hindi, poetry by famous Hindi and Urdu poets. Share poetry hindi on Facebook, Whatsapp, Twitter and Instagram.