शेर Poetry (page 14)

हम ने आँख से देखा कितने सूरज निकले डूब गए

एजाज़ उबैद

हँसने में रोने की आदत कभी ऐसी तो न थी

एजाज़ उबैद

गले लग कर मिरे वो जाने हँसता था कि रोता था

एजाज़ उबैद

फ़ुसून-ए-शेर से हम उस मह-ए-गुरेज़ाँ को

एहसान दानिश

कभी कभी जो वो ग़ुर्बत-कदे में आए हैं

एहसान दानिश

हर शख़्स में कुछ लोग कमी ढूँड रहे हैं

डॉक्टर आज़म

बुलंद फ़िक्र की हर शे'र से अयाँ हो रमक़

डॉक्टर आज़म

शदीद गरमी के मौसम में मुशाइरा

दिलावर फ़िगार

लंदन में जश्न-ए-ग़ालिब

दिलावर फ़िगार

कराची की बस

दिलावर फ़िगार

'ग़ालिब' को बुरा क्यूँ कहो

दिलावर फ़िगार

इलिएट्स-गर्ल्स-कॉलेज और कुल पाक ओ हिन्द मुशाएरा

दिलावर फ़िगार

क्रिकेट और मुशाइरा

दिलावर फ़िगार

शाइ'र से शेर सुनिए तो मिस्रा उठाइए

दिलावर फ़िगार

न मिरा मकाँ ही बदल गया न तिरा पता कोई और है

दिलावर फ़िगार

अमरीका शेर पढ़ने गए थे हमारे दोस्त

दिलावर फ़िगार

ग़म को वज्ह-ए-हयात कहते हैं

द्वारका दास शोला

जब वो मह-ए-रुख़्सार यकायक नज़र आया

दाऊद औरंगाबादी

गुलशन-ए-जग में ज़रा रंग-ए-मोहब्बत नीं है

दाऊद औरंगाबादी

दिल कूँ दिलदार के नियाज़ करे

दाऊद औरंगाबादी

हुस्न-ए-अज़ल का जल्वा हमारी नज़र में है

दत्तात्रिया कैफ़ी

तुम आईना ही न हर बार देखते जाओ

दाग़ देहलवी

जो मेरी छत का रस्ता चाँद ने देखा नहीं होता

चित्रांश खरे

पहले तो उस की ज़ात ग़ज़ल में समेट लूँ

चंद्र प्रकाश जौहर बिजनौरी

जले चराग़ बुझाने की ज़िद नहीं करते

चाँदनी पांडे

एक मुद्दत से उसे देखा नहीं

चाँदनी पांडे

नए झगड़े निराली काविशें ईजाद करते हैं

चकबस्त ब्रिज नारायण

वो अक्स बन के मिरी चश्म-ए-तर में रहता है

बिस्मिल साबरी

नाम उस का

बिमल कृष्ण अश्क

मेरा हर शेर है इक राज़-ए-हक़ीक़त 'बेख़ुद'

बेख़ुद देहलवी

Collection of Hindi Poetry. Get Best Hindi Shayari, Poems and ghazal. Read shayari Hindi, poetry by famous Hindi and Urdu poets. Share poetry hindi on Facebook, Whatsapp, Twitter and Instagram.