Ghazals of Mumtaz Mirza

Ghazals of Mumtaz Mirza
नाममुमताज़ मीरज़ा
अंग्रेज़ी नामMumtaz Mirza
जन्म की तारीख1929
मौत की तिथि1997

ज़माना गुज़रा है तूफ़ान-ए-ग़म उठाए हुए

ये वफ़ा माँगे है तुम से न जफ़ा माँगे है

तिरे क़रीब भी दिल कुछ बुझा सा रहता है

रंग कुछ शोख़ से तस्वीर में भर कर देखो

फूल जब कोई बिखरता है तो हँस देते हैं

पर्दा-ए-ज़ेहन से साया सा गुज़र जाता है

पलकों पे कुछ चराग़ फ़रोज़ाँ हुए तो हैं

मिरे नालों में इतना तो असर है

मस्लक-ए-इश्क़ बयाँ क्या कीजे

लाई बहार शौक़ के सामाँ नए नए

हर दर्द के हर ग़म के तलबगार हमीं हैं

हमारा राज़-दाँ कोई नहीं है

हाल न पूछो रोज़-ओ-शब का कोई अनोखी बात नहीं

ग़मों में डूबी हुई है हर इक ख़ुशी मेरी

बे-तरह आप की यादों ने सताया है मुझे

बहुत दावे किए हैं आगही ने

मुमताज़ मीरज़ा Ghazal in Hindi - Read famous मुमताज़ मीरज़ा Shayari, Ghazal, Nazams and SMS. Biggest collection of Love Poetry, Sad poetry, Sufi Poetry & Inspirational Poetry by famous Poet मुमताज़ मीरज़ा. Free Download Best Ghazal, Sufi Poetry, Two Lines Sher, Sad Poetry, written by Sufi Poet मुमताज़ मीरज़ा. मुमताज़ मीरज़ा Ghazals and Inspirational Nazams for Students.