वक़्त-ए-रुख़्सत तसल्लियाँ दे कर
और भी तुम ने बे-क़रार किया
Gulzar
Anwar Masood
Parveen Shakir
Jaun Eliya
Mir Taqi Mir
Wasi Shah
Javed Akhtar
Rahat Indori
Allama Iqbal
Mohsin Naqvi
Habib Jalib
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कूचा-गर्दी में जवानी जाएगी
हुस्न-ए-ख़ुद-बीं को हुआ और सिवा नाज़-ए-हिजाब
मय-ए-कौसर का असर चश्म-ए-सियह-फ़ाम में है
ये भीगी रात ये ठंडा समाँ ये कैफ़-ए-बहार
तमकीं है और हुस्न-ए-गरेबाँ है और हम
शबाब ढलते ही आई पीरी मआ'ल पर अब नज़र हुई है
आग़ाज़-ए-मोहब्बत से अंजाम-ए-मोहब्बत तक
क्या कहिए दास्तान-ए-तमन्ना बदल गई
आरज़ू लुत्फ़ तलब इश्क़ सरासर नाकाम