आसिम पीरज़ादा कविता, ग़ज़ल तथा कविताओं का आसिम पीरज़ादा (page 2)
नाम | आसिम पीरज़ादा |
---|---|
अंग्रेज़ी नाम | Aasim Pirzada |
अगर मिल गई हूर जन्नत में मुझ को
अब कहाँ है वो नश्तरों की बहार
आतंक का माहौल है छाया हुआ दिल पर
आशिक़ों की तो है भर-मार तिरे कूचे में