Heart Broken Poetry of Ameeta Parsuram ‘Meeta’

Heart Broken Poetry of Ameeta Parsuram ‘Meeta’
नामअमीता परसुराम 'मीता'
अंग्रेज़ी नामAmeeta Parsuram ‘Meeta’
जन्म की तारीख1955
जन्म स्थानDelhi

ज़िंदगी अपना सफ़र तय तो करेगी लेकिन

सुब्ह-ए-रौशन को अंधेरों से भरी शाम न दे

न हों ख़्वाहिशें न गिला कोई न जफ़ा कोई

कुछ तो एहसास-ए-मोहब्बत से हुईं नम आँखें

ज़िंदगी अपना सफ़र तय तो करेगी लेकिन

वफ़ा की शान वो लेकिन कभी मिरे न हुए

सुब्ह-ए-रौशन को अंधेरों से भरी शाम न दे

शिद्दत-ए-शौक़ से अफ़्साने तो हो जाते हैं

रक़ीब-ए-जाँ नज़र का नूर हो जाए तो क्या कीजे

न तो ख़ौफ़ रोज़-ए-जज़ा का हो वही इश्क़ है

खींच लाया तुझे एहसास-ए-तहफ़्फ़ुज़ मुझ तक

कम्बख़्त दिल ने इश्क़ को वहशत बना दिया

हज़ारों मंज़िलें फिर भी मिरी मंज़िल है तू ही तू

बन गए दिल के फ़साने क्या क्या

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