Islamic Poetry of Hadi Machlishahri
नाम | हादी मछलीशहरी |
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अंग्रेज़ी नाम | Hadi Machlishahri |
जन्म की तारीख | 1890 |
मौत की तिथि | 1961 |
कविताएं
Ghazal 15
Couplets 15
Love 13
Sad 16
Heart Broken 15
Bewafa 5
Hope 12
Friendship 4
Islamic 5
Sufi 2
ख्वाब 2
Sharab 2
तू है बहार तो दामन मिरा हो क्यूँ ख़ाली
ज़बाँ पे हर्फ़-ए-शिकायत अरे मआज़-अल्लाह
तुम्हें भी मालूम हो हक़ीक़त कुछ अपनी रंगीं-अदाइयों की
तू न हो हम-नफ़स अगर जीने का लुत्फ़ ही नहीं
हज़ार ख़ाक के ज़र्रों में मिल गया हूँ मैं