हमें तेरे सिवा इस दुनिया में किसी और से क्या लेना-देना
हम सब को जवाब नहीं देते हम सब से सवाल नहीं करते
Rahat Indori
Parveen Shakir
Javed Akhtar
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Gulzar
Anwar Masood
Faiz Ahmad Faiz
Mir Taqi Mir
Wasi Shah
Mohsin Naqvi
Habib Jalib
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बहुत दिन से कोई मंज़र बनाना चाहते हैं हम
वहाँ हमारा कोई मुंतज़िर नहीं फिर भी
ब-रंग-ए-नग़मा बिखर जाना चाहते हैं हम
इश्क़ बिन जीने के आदाब नहीं आते हैं
आज तक जो भी हुआ उस को भुला देना है
फूल से मासूम बच्चों की ज़बाँ हो जाएँगे
हम अपने-आप पे भी ज़ाहिर कभी दिल का हाल नहीं करते
हम हार गए तुम जीत गए हम ने खोया तुम ने पाया
इश्क़ की राह में यूँ हद से गुज़र मत जाना
तुझ से बिछड़ के यूँ तो बहुत जी उदास है
मौज-ए-हवा आब-ए-रवाँ और ये ज़मीन ओ आसमाँ