Coupletss of Indira Varma
नाम | इन्दिरा वर्मा |
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अंग्रेज़ी नाम | Indira Varma |
जन्म की तारीख | 1940 |
जन्म स्थान | Delhi |
कविताएं
Ghazal 20
Couplets 20
Love 28
Sad 19
Heart Broken 16
Bewafa 5
Hope 11
Friendship 3
Social 1
बारिश 1
ख्वाब 9
Sharab 4
ज़िंदगी आज तेरा लुत्फ़ ओ करम
ये शफ़क़ चाँद सितारे नहीं अच्छे लगते
ये रौशनी तिरे कमरे में ख़ुद नहीं आई
ये कैसी वक़्त ने बदली है करवट
यही फ़साना रहा है जुनूँ के सहरा में
वक़्त ख़ामोश है टूटे हुए रिश्तों की तरह
उस से मत कहना मिरी बे-सर-ओ-सामानी तक
तुम्हारे बिना सब अधूरे हैं जानाँ
सिला दिया है मोहब्बत का तुम ने ये कैसा
शिकस्ता-दिल अँधेरी शब अकेला राहबर क्यूँ हो
शाख़-दर-शाख़ होती है ज़ख़्मी
रौशनी फूट निकली मिसरों से
मिरी चाहतों में ग़ुरूर हो दिल-ए-ना-तवाँ में सुरूर हो
किताब-ए-ज़ीस्त का उनवान बन गए हो तुम
किस ख़ता की सज़ा मिली उस को
कैसे सहरा में भटकता है मिरा तिश्ना लब
बहारों के आँचल में ख़ुश-बू छुपी है
बहार आई तो खुल कर कहा है फूलों ने
अभी से कैसे कहूँ तुम को बेवफ़ा साहब
आप का लहजा शहद जैसा तरन्नुम-ख़ेज़ है